<no title>लॉकडाउन के बीच नोएडा की सड़कों पर दिखे हजारों यात्री, शहर में चुपके से लाई गईं रोडवेज बसें -*

 


*लॉकडाउन के बीच नोएडा की सड़कों पर दिखे हजारों यात्री, शहर में चुपके से लाई गईं रोडवेज बसें -*


 


 


देशभर में कोरोना वायरस (Coronavirus) के प्रकोप से हड़कंप मचा हुआ है. ज्यादातर राज्यों में लॉक डाउन और धारा 144 लगी हुई है. लोगों को सोशल डिस्टेंसिंग यानी एक दूसरे से दूरी बनाने के लिए कहा जा रहा है. क्योंकि कोरोना वायरस के संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए यह बेहतर उपाय है.


वहीं बीती रात यूपी के नोएडा में जो हुआ उससे प्रशासन सवालों के घेरे में है. सवाल ये भी है कि कैसे हजारों लोगों के स्वास्थ्य को पुलिस और प्रशासन ने ताक पर रख दिया. दरअसल, रात करीब 2:00 बजे 15 से 20 यूपी रोडवेज की बसें नोएडा फेस 2 के याकूबपुर में बुलाई गईं.


*गली-गली हुआ अनाउंसमेंट*



स्थानीय लोगों का कहना है कि बीती रात 10 बजे से नोएडा पुलिस के अधिकारियों ने गली-गली जाकर ये अनाउंसमेंट किया कि कल से सब कुछ बंद हो जाएगा और खाने को कुछ नहीं मिलेगा. लोगों ने ये भी बताया कि पुलिस के अधिकारियों ने ही कहा कि हम कुछ बसों का इंतजाम कर रहे हैं, आप अपने गांव शहर निकल जाइए.


स्थानीय लोगों ने TV9 को फोन करके सूचना दी. जब हमारी टीम वहां पहुंची तो जो देखा वह बेहद हैरान करने वाला था. सैकड़ों की तादाद में यात्री सड़क पर मौजूद थे. जब पुलिस अधिकारियों से इस गैर जिम्मेदाराना हरकत का जवाब मांगा तो उन्होंने चुप्पी साध ली. साथ ही नोएडा पुलिस के अधिकारी  TV9 भारतवर्ष के कैमरे से बचते नजर आए.


लोगों का कहना है कि स्थानीय पुलिस ने बिना वर्दी के इस पूरे घटनाक्रम को अंजाम दिया. ड्राइवर से पूछा तो उसने बताया कि हमको अचानक से बोला गया कि आपकी ड्यूटी लगी है तो हम चले आए.


*इस मामले पर पुलिस का जवाब*



नोएडा पुलिस ने ट्वीट के माध्यम से इस मामले पर कहा है कि दिन प्रतिदिन कार्य करने वाले लॉकडाउन के कारण जो कर्मचारीगण काम नही पा रहे हैं और अपने गंतव्य स्थान पर जाना चाहते है उनको सुरक्षा के साथ अपने गंतव्य स्थान पर रात्रि में भेजा गया है. यह प्रक्रिया भारत के सभी बड़े राज्यों में भी लागू की गई है, जहां बडी संख्या में माइग्रेंट वर्कर है ।